क्वांटम की ऊर्जा: Difference between revisions
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ऊर्जा की मात्रा की अवधारणा का पता लगाने के लीए क्वांटम यांत्रिकी में एक मौलिक विचार है। परमाणु और उपपरमाण्विक स्तर पर कणों और तरंगों के व्यवहार को समझने के लिए ऊर्जा की क्वांटा को समझना आवश्यक है। | |||
== ऊर्जा की मात्रा की अवधारणा == | |||
ऊर्जा की एक मात्रा क्वांटम यांत्रिकी में ऊर्जा की सबसे छोटी अविभाज्य इकाई को संदर्भित करती है। यह दर्शाता है कि ऊर्जा निरंतर नहीं है बल्कि अलग-अलग पैकेट या क्वांटा में आती है। यह अवधारणा मैक्स प्लैंक द्वारा प्रस्तुत की गई थी और यह क्वांटम भौतिकी की आधारशिला है। | |||
== प्लैंक की क्वांटम परिकल्पना == | |||
मैक्स प्लैंक ने प्रस्तावित किया कि ऊर्जा मात्राबद्ध है, जिसका अर्थ है कि यह केवल विशिष्ट असतत मूल्यों में ही मौजूद हो सकती है। उन्होंने यह विचार निम्नलिखित समीकरण के माध्यम से व्यक्त किया: | |||
<math>E=h\;f,</math> | |||
<math>E</math>: क्वांटम की ऊर्जा (जूल, <math>J</math> में मापी गई)। | |||
<math>h</math>: प्लैंक स्थिरांक (<math>6.626\times10^{-34}J\cdot s</math>)। | |||
<math>f</math>: क्वांटम की आवृत्ति (हर्ट्ज, <math>Hertz</math> में मापा गया)। | |||
== ऊर्जा पैकेट == | |||
यह समीकरण हमें बताता है कि किसी क्वांटम की ऊर्जा उसकी आवृत्ति के सीधे आनुपातिक होती है। दूसरे शब्दों में, ऊर्जा पैकेटों में आती है, और प्रत्येक पैकेट का आकार आवृत्ति पर निर्भर करता है। उच्च-आवृत्ति क्वांटा में अधिक ऊर्जा होती है, जबकि निम्न-आवृत्ति क्वांटा में कम होती है। | |||
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Revision as of 20:52, 8 October 2023
quantum of energy
ऊर्जा की मात्रा की अवधारणा का पता लगाने के लीए क्वांटम यांत्रिकी में एक मौलिक विचार है। परमाणु और उपपरमाण्विक स्तर पर कणों और तरंगों के व्यवहार को समझने के लिए ऊर्जा की क्वांटा को समझना आवश्यक है।
ऊर्जा की मात्रा की अवधारणा
ऊर्जा की एक मात्रा क्वांटम यांत्रिकी में ऊर्जा की सबसे छोटी अविभाज्य इकाई को संदर्भित करती है। यह दर्शाता है कि ऊर्जा निरंतर नहीं है बल्कि अलग-अलग पैकेट या क्वांटा में आती है। यह अवधारणा मैक्स प्लैंक द्वारा प्रस्तुत की गई थी और यह क्वांटम भौतिकी की आधारशिला है।
प्लैंक की क्वांटम परिकल्पना
मैक्स प्लैंक ने प्रस्तावित किया कि ऊर्जा मात्राबद्ध है, जिसका अर्थ है कि यह केवल विशिष्ट असतत मूल्यों में ही मौजूद हो सकती है। उन्होंने यह विचार निम्नलिखित समीकरण के माध्यम से व्यक्त किया:
: क्वांटम की ऊर्जा (जूल, में मापी गई)।
: प्लैंक स्थिरांक ()।
: क्वांटम की आवृत्ति (हर्ट्ज, में मापा गया)।
ऊर्जा पैकेट
यह समीकरण हमें बताता है कि किसी क्वांटम की ऊर्जा उसकी आवृत्ति के सीधे आनुपातिक होती है। दूसरे शब्दों में, ऊर्जा पैकेटों में आती है, और प्रत्येक पैकेट का आकार आवृत्ति पर निर्भर करता है। उच्च-आवृत्ति क्वांटा में अधिक ऊर्जा होती है, जबकि निम्न-आवृत्ति क्वांटा में कम होती है।