अंतराहैलोजन यौगिक: Difference between revisions

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अंतराहैलोजन [[यौगिक]] ऐसे यौगिक होते हैं जिनमें एक ही अणु के जुड़े हुए अनेक [[हैलोजन]] परमाणु होते हैं। हैलोजन [[आवर्त सारणी की उत्पत्ति|आवर्त सारणी]] के समूह 17 के तत्व हैं, जिनमें फ्लोरीन (F), क्लोरीन (Cl), ब्रोमीन (Br), आयोडीन (I), और एस्टैटिन (At) सम्मिलित हैं। अंतराहैलोजन यौगिकों को शामिल हैलोजन परमाणुओं और अणु में उनकी व्यवस्था के आधार पर विभिन्न प्रकारों में वर्गीकृत किया जा सकता है। जब दो भिन्न भिन्न हैलोजन एक दूसरे से अभिक्रिया करते हैं तब अंतराहैलोजन यौगिक बनते हैं। इन्हे निम्न प्रकार प्रदर्शित किया जा सकता है। जैसे - XX<sup>'</sup>, XX<sup>'</sup><sub>3</sub>, XX<sup>'</sup><sub>5</sub>, XX<sup>'</sup><sub>7</sub> जहां X आकार में बड़ा होता है और X<sup>'</sup> आकार में छोटा होता है। यहां अंतराहैलोजन यौगिकों के कुछ उदाहरण दिए गए हैं:
=== 1.) द्विअणुक हैलोजन ===
* फ्लोरीन (F2)
* क्लोरीन (Cl2)
* ब्रोमीन (Br2)
* आयोडीन (I2)
* एस्टैटिन (एटी2)
=== 2.) मिश्रित हैलाइड ===
इन यौगिकों के अणु में एक से अधिक प्रकार के हैलोजन होते हैं।
उदाहरण: ClF<sub>3</sub> (क्लोरीन ट्राइफ्लोराइड)
=== 3.) पॉलीहैलोजन आयन ===
इन आयनों में एक से अधिक हैलोजन परमाणु होते हैं।
उदाहरण: I<sub>3</sub><sup>-</sup> (ट्राईआयोडाइड आयन)
=== 4.) अंतराहैलोजन यौगिक ===
* '''ClF<sub>3</sub> (क्लोरीन ट्राइफ्लोराइड)'''
* यह एक अंतराहैलोजन यौगिक है जिसमें क्लोरीन और फ्लोरीन दोनों होते हैं।
* '''BrF<sub>5</sub> (ब्रोमीन पेंटाफ्लोराइड)'''
* एक अन्य अंतराहैलोजन यौगिक, इसमें ब्रोमीन और फ्लोरीन दोनों होते हैं।
* '''IF7 (आयोडीन हेप्टाफ्लोराइड)'''
* यह आयोडीन और फ्लोरीन के साथ एक अंतराहैलोजन यौगिक है।
* '''I<sub>3</sub><sup>-</sup> (ट्रायोडाइड आयन)'''
* यह एक पॉलीहैलोजन आयन है जो ऋणात्मक आवेश वाले तीन आयोडीन परमाणुओं द्वारा निर्मित होता है।
=== 5.) हैलोजन ऑक्साइड ===
इन यौगिकों में हैलोजन और ऑक्सीजन दोनों [[परमाणु]] होते हैं।
'''Cl<sub>2</sub>O (डाइक्लोरीन मोनोऑक्साइड)'''
यह एक हैलोजन ऑक्साइड है, जिसमें [[क्लोरीन]] और ऑक्सीजन दोनों होते हैं।
'''ClO<sub>2</sub> (क्लोरीन डाइऑक्साइड)'''
एक अन्य हैलोजन ऑक्साइड, इसमें क्लोरीन और ऑक्सीजन होता है।
=== 6.) हाइपोहैलाइट्स ===
इन यौगिकों में एक हाइपोहैलाइट आयन होता है
'''ClO<sup>-</sup>(हाइपोक्लोराइट आयन)'''
एक हाइपोहैलाइट आयन जिसमें ऋणात्मक आवेश के साथ क्लोरीन और ऑक्सीजन होता है। यह एक पॉलीहैलोजन आयन है जो ऋणात्मक आवेश वाले तीन परमाणुओं द्वारा निर्मित होता है।
=== 7.) हेलोमाइन ===
इन यौगिकों के अणु में हैलोजन और नाइट्रोजन दोनों परमाणु होते हैं।
'''NF<sub>3</sub> (नाइट्रोजन ट्राइफ्लोराइड)'''
यह एक हैलोमाइन है, जिसमें नाइट्रोजन और फ्लोरीन होता है।
== विरचन ==
अंतराहैलोजन यौगिक दो हैलोजन की सीधे अभिक्रिया करके बनाये जा सकते हैं।
<chem>Cl2 + F2 ->[437K] 2ClF</chem>
<chem>Cl2 + 3F2 ->[573K] 2ClF3</chem>
<chem>I2 + Cl2 -> 2ICl</chem>
<chem>I2 + 3Cl2 -> 2ICl3</chem>
== गुण ==
* ये [[सहसंयोजक यौगिक|सहसंयोजक]] अणु हैं।
* ये प्रतिचुम्ब्कीय प्रकृति के होते हैं।
* ये वाष्पशील ठोस और द्रव दोनों रूपों में उपस्थित  हैं।
* ये हैलोजन की अपेक्षा अधिक क्रियाशील होते हैं।

Latest revision as of 23:18, 30 May 2024

अंतराहैलोजन यौगिक ऐसे यौगिक होते हैं जिनमें एक ही अणु के जुड़े हुए अनेक हैलोजन परमाणु होते हैं। हैलोजन आवर्त सारणी के समूह 17 के तत्व हैं, जिनमें फ्लोरीन (F), क्लोरीन (Cl), ब्रोमीन (Br), आयोडीन (I), और एस्टैटिन (At) सम्मिलित हैं। अंतराहैलोजन यौगिकों को शामिल हैलोजन परमाणुओं और अणु में उनकी व्यवस्था के आधार पर विभिन्न प्रकारों में वर्गीकृत किया जा सकता है। जब दो भिन्न भिन्न हैलोजन एक दूसरे से अभिक्रिया करते हैं तब अंतराहैलोजन यौगिक बनते हैं। इन्हे निम्न प्रकार प्रदर्शित किया जा सकता है। जैसे - XX', XX'3, XX'5, XX'7 जहां X आकार में बड़ा होता है और X' आकार में छोटा होता है। यहां अंतराहैलोजन यौगिकों के कुछ उदाहरण दिए गए हैं:

1.) द्विअणुक हैलोजन

  • फ्लोरीन (F2)
  • क्लोरीन (Cl2)
  • ब्रोमीन (Br2)
  • आयोडीन (I2)
  • एस्टैटिन (एटी2)

2.) मिश्रित हैलाइड

इन यौगिकों के अणु में एक से अधिक प्रकार के हैलोजन होते हैं।

उदाहरण: ClF3 (क्लोरीन ट्राइफ्लोराइड)

3.) पॉलीहैलोजन आयन

इन आयनों में एक से अधिक हैलोजन परमाणु होते हैं।

उदाहरण: I3- (ट्राईआयोडाइड आयन)

4.) अंतराहैलोजन यौगिक

  • ClF3 (क्लोरीन ट्राइफ्लोराइड)
  • यह एक अंतराहैलोजन यौगिक है जिसमें क्लोरीन और फ्लोरीन दोनों होते हैं।
  • BrF5 (ब्रोमीन पेंटाफ्लोराइड)
  • एक अन्य अंतराहैलोजन यौगिक, इसमें ब्रोमीन और फ्लोरीन दोनों होते हैं।
  • IF7 (आयोडीन हेप्टाफ्लोराइड)
  • यह आयोडीन और फ्लोरीन के साथ एक अंतराहैलोजन यौगिक है।
  • I3- (ट्रायोडाइड आयन)
  • यह एक पॉलीहैलोजन आयन है जो ऋणात्मक आवेश वाले तीन आयोडीन परमाणुओं द्वारा निर्मित होता है।

5.) हैलोजन ऑक्साइड

इन यौगिकों में हैलोजन और ऑक्सीजन दोनों परमाणु होते हैं।

Cl2O (डाइक्लोरीन मोनोऑक्साइड)

यह एक हैलोजन ऑक्साइड है, जिसमें क्लोरीन और ऑक्सीजन दोनों होते हैं।

ClO2 (क्लोरीन डाइऑक्साइड)

एक अन्य हैलोजन ऑक्साइड, इसमें क्लोरीन और ऑक्सीजन होता है।

6.) हाइपोहैलाइट्स

इन यौगिकों में एक हाइपोहैलाइट आयन होता है

ClO-(हाइपोक्लोराइट आयन)

एक हाइपोहैलाइट आयन जिसमें ऋणात्मक आवेश के साथ क्लोरीन और ऑक्सीजन होता है। यह एक पॉलीहैलोजन आयन है जो ऋणात्मक आवेश वाले तीन परमाणुओं द्वारा निर्मित होता है।

7.) हेलोमाइन

इन यौगिकों के अणु में हैलोजन और नाइट्रोजन दोनों परमाणु होते हैं।

NF3 (नाइट्रोजन ट्राइफ्लोराइड)

यह एक हैलोमाइन है, जिसमें नाइट्रोजन और फ्लोरीन होता है।

विरचन

अंतराहैलोजन यौगिक दो हैलोजन की सीधे अभिक्रिया करके बनाये जा सकते हैं।

गुण

  • ये सहसंयोजक अणु हैं।
  • ये प्रतिचुम्ब्कीय प्रकृति के होते हैं।
  • ये वाष्पशील ठोस और द्रव दोनों रूपों में उपस्थित  हैं।
  • ये हैलोजन की अपेक्षा अधिक क्रियाशील होते हैं।