फास्फोरस के हैलाइड
फास्फोरस दो प्रकार के हैलाइड बनता है-
तथा
फॉस्फोरस ट्राइ क्लोराइड का विरचन
श्वेत फॉस्फोरस पर शुष्क क्लोरीन गैस प्रवाहित करने पर फॉस्फोरस ट्राइ क्लोराइड प्राप्त होता है।
श्वेत फॉस्फोरस पर थायोनिल क्लोराइड की अभिक्रिया से फॉस्फोरस प्राप्त होता है।
फॉस्फोरस ट्राइ क्लोराइड के गुण
- यह रंगहीन तैलीय द्रव है।
- यह नमी में जल अपघटित हो जाता है।
फॉस्फोरस ट्राइ क्लोराइड -OH समूह के साथ अभिक्रिया करके कार्बनिक यौगिक बनाता है।
फॉस्फोरस ट्राइ क्लोराइड की आकृति पिरैमिडी है तथा संकरण SP3 है।
फॉस्फोरस पेन्टा क्लोराइड का विरचन
श्वेत फॉस्फोरस पर आधिक्य में शुष्क क्लोरीन गैस प्रवाहित करने पर फॉस्फोरस पेंटाक्लोराइड प्राप्त होता है।
फॉस्फोरस पर थायोनिल क्लोराइड की अभिक्रिया द्वारा फॉस्फोरस पेंटाक्लोराइड प्राप्त होता है।
फॉस्फोरस पेन्टा क्लोराइड के गुण
- यह एक हल्का पीला श्वेत पाउडर है।
- यह नमी में जल अपघटित होकर फॉस्फोरिक अम्ल देता है।
इसे अधिक तेज गर्म करने पर यह वियोजित हो जाता है।
फॉस्फोरस पेन्टा क्लोराइड कुछ धातुएं के साथ गर्म करने पर संगत क्लोराइड बनाती हैं।
फॉस्फोरस पेन्टा क्लोराइड की आकृति त्रिसमनताक्ष द्विपिरामिडी होती है।
अभ्यास प्रश्न
- क्या होता है जब फॉस्फोरस पेन्टा क्लोराइड को गर्म करते हैं ?
- PCl3 नमी में धूम क्यों देता है ?
- क्या होता है जब को गर्म करते हैं ?